ये वो हैं जिन्होंने आजादी के हवन कुंड में अपनी आहुति दी है
वरना आज भी हम विदेशियों के पैरों तले रौंदे जाते
अपनी ही जमीन अपने देश में बेगाने होते
इतना हमेशा जिंदगी में याद रखना
इस झंडे को सिर्फ तिरंगा मत समझना
इसके तीन रंगों में तीनो लोक समाया है
इन रंगों की सोच ने दुनिया को झुकाया है
वह है तो देश का वजूद है
देश है तो हमारा वजूद है
वह लहराता है तो हम महफूज हैं
देश आजाद है यह उसका सबूत है।
तिरंगा हमारे देश की पहचान है
वह हिंदुस्तान की अस्मिता की शान है
तिरंगा हमारा धर्म और ईमान है
इस पर निछावर अपनी जान है
पूछो उनसे जिनका जिस्म तिरंगे में लिपटता है
वह तो मर कर भी इतिहास के पन्नों में जा चिपकता है
उसकी मौत हमारी जिंदगी से ज्यादा हसीन होती है
फिर एक फौजी की शहादत पर क्यों आंखें गमगीन होती हैं ?
इनका जीना भी झंडे के लिए इनका मरना भी झंडे के लिए
जिसने सीने से लगाकर झंडे को बचाया है
आज एक दिया तो जलाओ उसके लिए
आज के दिन उन शहीदों के लिए
एक श्रद्धांजलि तो बनती है
हाथों में दो फूल ही सही उनके चरणों में एक पुष्पांजलि तो बनती है।
✍️ संध्या शर्मा ( मोहाली, पंजाब )
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