शान हमारी भारत माँ की
कभी तनिक ना कम होगी
मर कर भी अपना तिरंगा
हम कभी नहीं झुकने देंगे।
गंगा-यमुना का पावन जल
हिन्द सरिस धारा होगा
हरी-भरी धरती माता की
सिर पर हिम का ताज होगा।
शान हमारी.................
तन और मन को किया समर्पित
मैंने तुझको भारत माता
याद दिलाई हर बच्चें को
तेरी ये अमृत गाथा।
शान हमारी…...........
कितने माँ के वीर सपूतों ने
जान हंसते-हंसते की कुर्बान
कितने बहनों की राखी ने
रखी अपने देश की ऊंची शान
शान हमारी ...............
जीवन अपना तुम्हें समर्पित
हे ! मेरी पावन भूमि
मेरी सदैव यह इच्छा होगी
हर बार जन्म लूं इस भूमि
शान हमारी .............
✍️ नीलम झा ( बोकारो, झारखंड )
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